मेरा भोला डमरू बजावे रे
पार्वती संग बैठे देखो शिव गोरा संग बैठे,
मेरा भोला, डमरू बजावे रे नील कंठ पे बैठे…
तन पे खाल पैगम्बर सोहे गल सर्पो की माला,
जटा में तेरी गंगा बहती चंदा मस्तक साजे,
मेरा भोला, डमरू बजावे रे नील कंठ पे बैठे…
नील कंठ पे जो भी जावे गंगा जल भोले को चढ़ावे,
मुँह माँगा फल शिव से पावे कभी न संकट आवे,
मेरा भोला, डमरू बजावे रे नील कंठ पे बैठे…
भोला ऐसा डमरू बजावे कावड़ियों संग सबको नचावे,
संग संग खुद भी नाचे गावे संग में डमरू बजावे,
मेरा भोला, डमरू बजावे रे नील कंठ पे बैठे…